पधारो मोरे अंगना श्री गणेश

लम्बोदरं परम सुन्दरमेकदन्तं,
पीताम्बरं त्रिनयनं परमं पवित्रम्
उद्यद्दिवाकर निभोज्ज्वल कान्ति कान्तं,
विध्नेश्वरं सकल विध्नहरं नमामि

पधारो मोरे अंगना श्री गणेश
करो पूरण काज श्री गणेश

रिद्धि सिद्धि के दाता तुम हो
सद्बुद्धि के प्रदाता तुम हो
सारे हर लो सबके क्लेश

सबसे पहले तेरी पूजा
तुमसे बड़ा कोई देव ना दूजा
तेरा सुंदर गजानन भेष

मोदक तुमको खूब सुहावे
रुचि रुचि करके भोग लगावे
दो सौरभ को कुछ शेष

स्वर ÷ पं. सौरभ कृष्ण शास्त्री ( 9559874123)
जय सच्चे की
श्रेणी
download bhajan lyrics (953 downloads)