श्याम रंगीला छैल छबीला
बैठा सिहांसन करता है सबको इशारे खाटू से पुकारे
तू खाटू चल प्यारे चल प्यारे तू खाटू चल प्यारे
सोणी सोणी श्याम ध्वजा थे एक बनाल्यो जी
रिंगस से पूजा करके निशान निशान उठयाल्यो जी
पैदल पैदल चल कर प्यारे,
भगतो के संग में करना तू जय जयकारे खाटू से पुकारे,
तू खाटू चल प्यारे चल प्यारे तू खाटू चल प्यारे
मन्दिर के शिखरो पे जब ध्वजा लहराएगी
श्याम से बिन मांगे झोली तेरी भर जाएगी चंग बजालो घूमर घालो,
प्रेमियो के संग में मेले के देखो नजारे खाटू से पुकारे
तू खाटू चल प्यारे चल प्यारे तू खाटू चल प्यारे
ग्यारस रात जगाकर बारस धोक लगाएगे
श्याम कहे बाबा को फिर गुलाल लगाएगे
खेलेगे होली भगतो की टोली
बाबा के रंग में रंग जाएगे हम सारे खाटू से पुकारे
तू खाटू चल प्यारे चल प्यारे तू खाटू चल प्यारे