ग्वाल वाल के संग तुम करते हो तंग
रूठ जाऊ तो मुझको मनाते हो
ओह श्याम मुरली भजाते हो राधा राधा करके क्यों भुलाते है
करु न तुझको तंग छोडू न तेरा संग
दूर तुझसे नही रह पाता है
राधा आजा तेरा श्याम बुलाता है तेरे लिए ही मुरली भ्जाता है,
तेरी बात में न मैं आऊ ना तुझसे प्रीत लगाउ
तू लाख पुकारे मुझको तेरे झांसे में न आऊ,
पास जाने पे मुझको सताते हो
ओह श्याम मुरली भजाते हो राधा राधा करके क्यों भुलाते है
माने तू जैसे मनाऊ राधा क्या करके दिखाऊ
कही रूठी रहे न तू ऐसे मैं सोच के ही गब्राऊ,
क्या कहू न मुह कह पाता है
राधा आजा तेरा श्याम बुलाता है तेरे लिए ही मुरली भ्जाता है,
चल छोड़ न तू पछतावे मैं आऊ जो तू बुलावे
ना करे गा तंग तू मुझको पेहले विश्वाश दिला दे
अपनी मन की कर तुम जाते हो
ओह श्याम मुरली भजाते हो राधा राधा करके क्यों भुलाते है
ना दूर तू जाइयो मुझसे हो जाऊ खफा मैं खुद से,
मानु गा तेरा केहना वादा करता हु तुझसे
तेरे बिना अधुरा कहलाता है
राधा आजा तेरा श्याम बुलाता है तेरे लिए ही मुरली भ्जाता है,