तेरी याद में रोते है जग ते है न सोते है,
उल्फत में तेरी मोहन दामन को भिगोते है,
तेरी याद में रोते है....
ये कैसी उल्फत है कुछ समज नही आवे,
प्रीतम को मेरे मुझ पर कोई तरस नहीं आवे,
ये कैसी अवस्था है क्या प्रीत के गोते है,
उल्फत में तेरी मोहन दामन को भिगोते है,
तेरी याद में रोते है....
अगर प्रीत है ये मोहन ये प्रीत अजुभि है,
प्रेमी को रुलाना ही क्या प्रीत की खुभी है,
हम प्रीत के मारे जीते न मरते है,
उल्फत में तेरी मोहन दामन को भिगोते है,
तेरी याद में रोते है....
करुणा के सागर हो करुणा तो दिखलाओ,
हम हार गए मोहन इतना तो न अजमाओ,
नंदू नीले प्यारे अरमान सी सख्ते है,
उल्फत में तेरी मोहन दामन को भिगोते है,
तेरी याद में रोते है....