ओ यशोदा कहियो जबर भयो रे
माहरी मटकी उलट के पटल गयो रे,
मुस्कान इस की लगे प्यारी प्यारी,
दीवानी हुई इसकी सारी ब्रिज नारी,
एह की मुरली में जियु रे अटक गया रे,
माहरी मटकी उलट के पटल गयो रे,
पनघट पे आके करे जोरा जोरि,
चुपके से आके करे चीर चोरी,
मइयां हलो मचो तो सटक गयो रे,
माहरी मटकी उलट के पटल गयो रे,
हम तो दुखारी मुरलियाँ की मारी,
नहीं जो रचा लो तो दे दी गारी,
नांदु बहियाँ कन्हियो माहरी बहियाँ कन्हियो झटक गयो रे,
माहरी मटकी उलट के पटल गयो रे,