ये समय समय का फेरा है
कब क्या हो किसने जाना है
राज तिलक की थी तैयारी
हर्षित थी नगरी सारी
ककई तो एक बहाना है
वनवास जो होने वाला है
सीता सती साध्वी नारी
महलो को ठोकर मारी
मिरग तो एक बहाना है
सीता हरण जो होने वाला है
राम हुए है दुखी अति भारी
कहाँ गयी मिथलेश कुमारी
पता लगाना एक बहाना है
भक्तो के घर प्रभु को जाना है
सुग्रीव से मिलकर करी मिताई
हनुमत हो गए उनके सहायी
पूंछ की आग तो एक बहाना है
लंका जलना तो होने वाला है
राम रावण का युद्ध था भारी
मारी गई राक्षस सेना सारी
सीता हरण तो एक बहाना है
रावण मरण जो होने वाला है