हैं जो सरकार खाटू के

हैं जो सरकार खाटू के, वो हारे को जिताते हैं,
दुखी हो दीन हो निर्बल, गले सबको लगाते हैं....

वही है सेठ सेठों का, वही है देव देवों का,
ना हो जिस बाग में कलियां, फूल उसमें खिलाते हैं....

वो रोतों को हंसाते हैं, वो बिछड़ों को मिलाते हैं,
ज़रा चलकर के तुम देखो, पल में बिगड़ी बनाते हैं....

शरण में आ गया विक्रम तेरा गुणगान गाने ,
लिखे ज्योति नहीं कुछ भी, आके बाबा लिखाते हैं....

download bhajan lyrics (506 downloads)