आदि गणेश मनाईए- संजय गुलहाटी

( गजाननं भूत गणादि सेवितं,
कपित्थ जम्बू फल चारू भक्षणम् ।
उमासुतं शोक विनाशकारकम्,
नमामि विघ्नेश्वर पाद पंकजम् ॥ )

शिव गौरां के, राज दुलारे* ll
मुंह माँगा, फ़ल पाईऐ,
आदि गणेश मनाईए, xll -ll
जय जय, जय जय, गणपति जी की ll

चंदन चौकी, अध्क विराजे ll
चंदन चौकी, अध्क विराजे* l
गंगा, जल से नहलाईए,
आदि गणेश मनाईए,,,
आदि गणेश मनाईए, xll -ll
जय जय, जय जय, गणपति जी की ll

फ़ूल माल ग़ल, हार विराजे ll
फूल माल ग़ल, हार विराजे* l
मस्तक, तिलक लगाईए,
आदि गणेश मनाईए,,,
आदि गणेश मनाईए, xll -ll
जय जय, जय जय, गणपति जी की ll

पान सुपारी, ध्वजा नारियल ll
पान सुपारी, ध्वजा नारियल* l
पहलड़ी, भेंट चढ़ाईए,
आदि गणेश मनाईए,,,
आदि गणेश मनाईए, xll -ll
जय जय, जय जय, गणपति जी की ll

गिरी छुहारा, और खोपरा ll
गिरी छुहारा, और खोपरा* l
लडडूयन, भोग लगाईए,
आदि गणेश मनाईए,,,
आदि गणेश मनाईए, xll -ll
जय जय, जय जय, गणपति जी की ll

सिमर चरण तेरा, ध्यानु यश गावे l
मईया नू सिमरिया, नौं निद्धि पावे l
सिमर चरण तेरा, ध्यानु यश गावे* ll
चरनों में, शीश झुकाईए,
आदि गणेश मनाईए,,,
आदि गणेश मनाईए, xll -ll
जय जय, जय जय, गणपति जी की ll

अपलोडर- अनिलरामूर्तिभोपाल
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