लाल चुनरी माई की लाल चुनरी,

ढोल नगाड़े भजने लगे है दवार मैया के सजने लगे है,
भक्तो को करती निहाल जी,
चुनरिया लाल जी बड़ी बेमिसाल जी,
लाल चुनरी माई की लाल चुनरी,

माँ के मन को भाने वाली भक्तो को हरसाने वाली,
इस चुनरी में बारे बारे जो भी इसकी नजर उतरे उस पर होती दयाल जी,
चुनरिया लाल जी बड़ी बेमिसाल जी,

तेरी चुनरी में जड़े सितारे दूर दूर तक पड़े लिचकारे,
सारे जगत में चुनरी आगे जिसको मिल जाए किस्मत जागे,
मिल जाए खुशिया कमाल की,
चुनरिया लाल जी बड़ी बेमिसाल जी,

ब्रह्मा विष्णु शंकर आये रज रज के सब रंग चढ़ाये,
रिद्धि सीधी इसमें समाये,
लाल चुनरी गगन को भाये जिसका है जग में धमाल जी,
चुनरिया लाल जी बड़ी बेमिसाल जी,
 
download bhajan lyrics (754 downloads)