एक बार संवारे से तू नजरे मिला के देख,
छट जायेगा अँधेरा तू अपना बनाके देख,
एक बार संवारे से तू नजरे मिला के देख
दर दर भटक रहा है क्यों एक बात मान ले,
बाबा के चरणों में जरा सर को झुका के देख,
छट जायेगा अँधेरा तू अपना बनाके देख,
एक बार संवारे से तू नजरे मिला के देख
सारे ज़माने से अगर तू हार गया है,
हारे का ये सहारा है खाटू में आके देख,
छट जायेगा अँधेरा तू अपना बनाके देख,
एक बार संवारे से तू नजरे मिला के देख
भक्तो का काम संवारा करता है है हर घडी,
जयकारा शर्मा श्याम का दिल से लगा के देख,
छट जायेगा अँधेरा तू अपना बनाके देख,
एक बार संवारे से तू नजरे मिला के देख