कर ले हरि का भजन
क्या है भरोसा इस जीवन का
दो दिन का जीवन, कर ले हरि का भजन
अनमोल जीवन तुझको मिला है
व्यर्थ ना इसको गवां,
सुमिरन कर ले परमेश्वर का, आनंद है ये दवा ,
क्यों है परेशा , माया के पीछे पा ले हरि नाम धन,
हीरे मोती छोड़ के तूने ऐसा काम किया,
झूठी दौलत खूब कमाई पर ना नाम लिया.,
कई जन्म ऐसे, तूने गवाए अब तो लगाले ये मन,
कर ले हरि का भजन
कर ले हरि का भजन
क्या है भरोसा इस जीवन का
दो दिन का जीवन, कर ले हरि का भजन
भजन रचना :
श्रद्धेय श्री बलराम जी उदासी
चकरभाठा बिलासपुर छ. ग.
MOB. - 98271-11399,
70004 - 92179..
धुन : { दिल है कि मानता नहीं..}