मतना नाटो जी सवारियां ईब तो खोल तेरो भंडार

मतना नाटो जी सवारियां ईब तो खोल तेरो भंडार
त्यौहारा में सबसे बड़ो म्हारो फागण को त्यौहारा
मतना नाटो जी.............

दातारी में सबसे ऊँचो नाम तेरो लखदातारी
दातारी दिखलादे अब तो मत कर सोच विचार
मतना नाटो जी.............

कार्तिक मांगशिर बित्या पाछे मनड़ो कोनी लागे रे
ज्यूँ ज्यूँ फागुण निडे आवे मन मे उठे ज्वार
मतना नाटो जी.............
     
निलम भी दरबार मे आई सिर पर हाथ फिरा ज्योजी
सोनू दीवानी"न धन दौलत सु बढ़ कर थारो प्यार
मतना नाटो जी.............

सुना हा म्हे तो फागनिया में जम कर माल लुटावे है
माल लूटने आयो दिलीप"भी ले सगलो परिवार
मतना नाटो जी.............

         
लेखक:दिलीप अग्रवाल
भजन गायिका:निलम बाडोलिया जयपुर
मो.8003814181
     

download bhajan lyrics (727 downloads)