फागन मेला आया रे भगतन जन खाटू धाम ने जा रिहा,
कोई पैदल चल के आ रिहा को पेट पलनिया आ रिहा,
लगा श्री श्याम जयकारा रे
भगतन जन खाटू धाम ने जा रिहा
चाल ले तू भी तयारी कर करले नाम श्याम को मन में धर ले
लगावे पार किनारा रे भगतन जन खाटू धाम ने जा रिहा
मेरो बाबो शीश को दानी एह की दुनिया बड़ी दीवानी
श्याम हारे का सहारा रे भगतन जन खाटू धाम ने जा रिहा
वंश श्याम का लाडला हारा श्याम के नए नए भजन सुना रा,
लगा श्री श्याम जैकारा भगतन जन खाटू धाम ने जा रिहा