हमें आस लगी दर्शन की,
मैया प्यास बुझादो मन की,
बिन मांगे देने वाली,
फरियाद सुनो निर्धन की,
मैया प्यास बुझादो मन की,
हमें आस लगी दर्शन की.....
मैया चरण रज अपनी,
हमें मस्तक लगाने दो,
बदल दो किस्मत हमारी,
देके धूल चरणन की,
मैया प्यास बुझादो मन की,
हमें आस लगी दर्शन की.....
अपनी ममता के दो कतरे,
मैया हमपे भी बरसा दो,
निरस है यह जीवन,
करें विनती बरसन की,
मैया प्यास बुझादो मन की,
हमें आस लगी दर्शन की.....
करे विनती राजीव ये ही,
फरियाद सुनो निर्धन की,
मैया प्यास बुझादो मन की,
मुझे आस लगी दर्शन की.....
©राजीव त्यागी
नजफगढ़ नई दिल्ली