श्री गुरुदेव आरती
आरती श्री गुरूदेव की गाऊँ, मन मदिर में जोत जगाकर, श्रीगुरुदेव का दर्शन पाऊँ ।
आरती श्री गुरूदेव की गाऊँ, मन मदिर में जोत जगाकर,
श्रीगुरुदेव का दर्शन पाऊँ, निशदिन श्री गुरुदेव मनाऊँ ,
आरती श्री गुरुदेव…….
गुरू ब्रह्मा गुरू विष्णु महेश्वर, गुरू ही वेद पुराण प्राणेश्वर।
कर वंदन नित शीश झुकाऊँ,निशदिन श्री गुरुदेव मनाऊँ,
आरती श्री गुरुदेव…….
ज्ञान ध्यान ईश्वर की भक्ति, बिन गुरुकृपा मिले नहीं मुक्ति।
कर वंदन नित शीश झुकाऊँ,निशदिन श्री गुरुदेव मनाऊँ
आरती श्री गुरुदेव……..
गुरुमंत्र गुरु वाक्य अनूठा, नाम जपत आवत है झूटा।
कर रसपान अमर फल पाऊँ,निशदिन श्री गुरुदेव मनाऊँ,
आरती श्री गुरुदेव…..
काग से हंस बनावे स्वामी, गोविंद मिलन करावे स्वामी।
गुरु कृपा पै बलि बलि जाऊँ ,निशदिन श्री गुरुदेव मनाऊँ
आरती श्री गुरुदेव…….
जो जन प्रेमसे आरती गावे, 'मधुप' सदा सुख-शांति पावे।
चापत चरण शरण सुख पाऊँ,निशदिन श्री गुरुदेव मनाऊँ ,
आरती श्री गुरुदेव…….