हे गजानंद महाराज घर म्हारे बेगा आ जाओ,
थारे आया बात बणसी बेगा आ जाओ,
सबसे पहले तुमको ध्याते,गणनायक गणराज,
जल्दी आकर काम बनाते,देवों के सरताज,
रिद्धि सिद्धि के दाता,घर म्हारे बेगा आ जाओ...थारे आया,
मूसे की असवारी सोहे,गणनायक महाराज,
रूप थारो मनड़ो मोहे,भक्तों के भरतार,
भरी सभा में आके म्हारी,लाज बचा जाओ...थारे आया,
हर कीर्तन को पहले आके,सफल बनाते हो,
इसीलिए देवों में पहले,पूजे जाते हो,
दुखियारे इस "राज" को आशीष दे जाओ...थारे आया,
स्वर:गिरधर महाराज
रचना:राज