जब से दिखिया म्हणे दरबार बाबा घाटे आले का,
बाबा घाटे आले का बाबा घाटे आले का,
जगती ज्योति अखंड भवन में,
भगत रहे से लील भजन में,
करे गुण गान सभी नर नार बाबा घाटे वाले का,
जब से दिखिया दरबार बाबा घाटे आले का,
मनमोहनी प्यारी सी सूरत,
सजी हुई बाबा की मूरत,
जन का खुला हुआ भंडार बाबा घाटे आले का,
मेहंदीपुर भर मेला भारी,
करते पूजा हवन पुजारी,
बरसे सब भक्ता पे प्यार बाबा घाटे आले का,
जब से दिखिया दरबार बाबा घाटे आले का,
कप्तान शर्मा भी हुआ दीवाना,
जो रह इस मई ला हरयाणा,
करते हर्ष जतिन प्रचार बाबा घाटे आले का,
जब से दिखिया दरबार बाबा घाटे आले का,