जब संत मिलन हो जाए
तेरी वाणी हरी गुण गाए
तब इतना समझ लेना
अब हरी से मिलन होगा
नहीं क्रोध किसी पे आए
सब में तो नज़र हरी आए
तब इतना समझ लेना
अब हरी से मिलन होगा
आँखों से आंसू आए
दिन रात याद हरी आए
कोई दूजा ना मन को भाए
दर्शन को मन ललचाए
तब इतना समझ लेना
अब हरी से मिलन होगा