ज्योति में के मजो है कीतरन में के मजो है,
खाटू में जाके देखो फागण में क्या मजो है,
मेले में भक्त आवे सागे निशान ल्यावे आवे पगा उघाड़ा,
कई परसता आवे मंदिर शिखर के ऊपर टांगण में क्या मजो है,
ज्योति में के मजो है कीतरन में के मजो है,
केसर गुलाब गोली बाबे से खेले होली गावे बजावे नाचे भक्ता की मिल के टोली,
भगति में मस्त हो के नाचन में क्या मजो है,
ज्योति में के मजो है कीतरन में के मजो है,
सांचो है श्याम बिहारी महिमा है एक की न्यारी,
तारा जन मन की ईशा पूरी कर सी वो बाहरी,
बिन मंगडो जो मिले है मँगने में क्या मजो है,
ज्योति में के मजो है कीतरन में के मजो है,