सांवरी सूरत जो निराली है
चाल टेडी बड़ी मतवाली है
उनकी बाकी अदा का हर कोई दीवाना है
छवि तन मन को हरने वाली है
काली कमली वाले का क्या कहना
यमुना पर रास रचाते हैं
होटो पर लगी मुरली प्यारी
खुद नाचे और नचाते हैं
काली कमली वाले का क्या कहना
मोर पँखो का मुकुट शीश पर सजाया है
कटीले नैनो ने भी दिल पर सितम ढाया है
श्याम ने जिसका दिल एक बार भी चुराया है
किया वापस नहीं वो अपना ही बनाया है
काली कमली वाले का क्या कहना
प्यारे कानों में उनके कुंडल झिलमिलाते हैं
चमक से अपनी चंद्रमा को भी लजाते हैं
गले में सांवरिया के वैजयंती माला है
राधा के मन को भाए रूप यह निराला है
काली कमली वाले का क्या कहना
हर एक गोपी मेरे मनमोहना की कायल है
उनकी बांकी अदा पर दिल सभी का घायल है
श्याम की मुरली बाजे राधा जी की पायल है
उनकी दीवानगी पर भूलन हुआ पागल है
काली कमली वाले का क्या कहना