स्वामी मैं हां दासी भोले ओ मिंजो मेहल बनाई दे,
गोरा ते मेरी है आसा सन्यासी बलिये
कजो मेहल बानइये ,,
तू सा स्वामी मैं हां दासी
दुनिया ता तेरी भरा भरा रेह्न्दी भोले,
काजो असा पाडा ते रहिये,
तू सा स्वामी मैं हां दासी
गोरा ता मेरेए पहाड़ा रहना लिख्याँ ,
नि ओह रेहना मेहल चुबारे,
तू सा स्वामी मैं हां दासी
विश्वकर्मा बनाया सोने दा मेहल लंका संसाय्सी रहना,
तू सा स्वामी मैं हां दासी
रावन बामन मेहल दी पूजा कराई दखना लंका मंगी लई ऐ,
तू सा स्वामी मैं हां दासी
गोरा ता मेरिये चलिए केलासा
भलिये कर्मन मेहल चुबाये,
तू सा स्वामी मैं हां दासी