खुश रह लेंगे कोठी और कार के बिना
जी ना पाएंगे रंगीली सरकार के बिना
सोना मिले ना चाहे चंडी मिले ना
सेवा को चाहे नौकर बांदी मिले ना
रह ना पाएंगे राधा तेरे प्यार के बिना
जी ना पाएंगे रंगीली सरकार के बिना
ऐसे बंधे हैं जैसे पतंग से डोरी
हर सांस कहती किशोरी किशोरी
जैसे नाव नहीं चले पतवार के बिना
जी ना पाएंगे रंगीली सरकार के बिना
ये तन है प्यारे दो आने की माटी
माथे लगा लो बरसाने की माटी
अजनबी क्या है राधा उस द्वार के बिना
जी ना पाएंगे रंगीली सरकार के बिना
खुश रह लेंगे ............