बाबा श्याम धणी दातार रे,
तेरी अलबेली सरकार रे,
देखे जिसको भी तू प्यार से,
फिर वो देखे कभी भी ना हार रे,
तेरी अलबेली सरकार रे,
बाबा श्याम धणी दातार रे,
तेरी अलबेली सरकार रे।
अपनी दशा को तुम्हे दिखाने,
आया द्वार मैं तेरे,
तेरी मैहर की नज़र पड़ी तो,
कष्ट कटे सब मेरे,
लीले घोड़े पे हो असवार रे,
एक तेरा मुझे आधार रे,
बाबा मुझको तेरी दरकार रे,
तेरी अलबेली सरकार रे,
बाबा श्याम धणी दातार रे,
तेरी अलबेली सरकार रे।
तेरी सुधा की बून्द साँवरे,
पड़ जाए मेरी जमीं पे,
वन उपवन हर ओर खिलेंगे,
ग़म होगा ना कही पे,
तेरे होते कैसे हो हार रे,
ताना देगा मुझे संसार रे,
बोलो कैसे करुं स्वीकार रे,
तेरी अलबेली सरकार रे,
बाबा श्याम धणी दातार रे,
तेरी अलबेली सरकार रे।
खिंच रहे जीवन गाड़ी को,
हम तो जैसे तैसे,
तेरी दया बिन तुम्ही तो बोलो,
आगे बढे ये कैसे,
तेरा हाथ भर लगे एक बार रे,
मेरी गाड़ी चले सौ पार रे,
सुनले सुनले ये करुण पुकार रे,
तेरी अलबेली सरकार रे,
बाबा श्याम धणी दातार रे,
तेरी अलबेली सरकार रे।
हम निर्गुण है दास साँवरे,
तुम अतुलित ज्ञानी हो,
दर आए खाली ना जाए,
सानी तुम दानी हो,
दे दे खुशियों की भरमार रे,
खाली हो ना कभी भंडार रे,
कर निर्मल पे किरपा तू हज़ार रे,
तेरी अलबेली सरकार रे,
बाबा श्याम धणी दातार रे,
तेरी अलबेली सरकार रे।
बाबा श्याम धणी दातार रे,
तेरी अलबेली सरकार रे।
देखे जिसको भी तू प्यार से,
फिर वो देखे कभी, भी ना हार रे,
तेरी अलबेली सरकार रे,
बाबा श्याम धणी दातार रे,
तेरी अलबेली सरकार रे