भोले मेरी नैया को भव पार लगा देना,
है आपके हाथों में मेरी बिगड़ी बना देना,
भोले मेरी नैया को भव पार लगा देना.....
तुम शंख बजाकर के दुनिया को जगाते हो,
डमरु की मधुर धुन से सत मार्ग दिखाते हो,
मैं मूरख सब मेरे अवगुण को भुला देना,
भोले मेरी नैया को....
चहूं ओर अंधेरा है तूफान ने घेरा है,
कोई राह नहीं दिखती एक तुम पर भरोसा है,
एक आस लगी तुमसे मेरी लाज बचा लेना,
भोले मेरी नैया को...
ए जगदंबा के स्वामी देवा दी देव नमामि,
सबके मन की तुम जानो शिव शंकर अंतर्यामी,
दुख आप मेरे मन का महादेव मिटा देना,
भोले मेरी नैया को....
महादेव जटा में तुमने गंगा को छुपाया है,
माथे पर चंद्र सजाया विषधर लिपटाया है,
मुझे नाथ गले अपने महाकाल लगा लेना,
भोले मेरी नैया को भव पार लगा देना.....