जटा में जिसके बहे गंगा,
भोले पीते है भंगा,
बड़े मतवाले है मेरे भोले बाबा,
जग से निराले है मेरे भोले बाबा....
कर में त्रिशूल साजे,
हाथों में कमण्डल विराजे,
गले में सर्पो की माला,
मस्तक पर चाँद है निराला,
बाघम्बर ओढ़े भस्म रमाए,
श्रंगी बजाने वाले है,
मेरे भोले बाबा,
जग से निराले है मेरे भोले बाबा.....
सागर का मंथन है कीन्हा,
देवो ने तुमको पुकारा,
चौदह रतन जब निकले,
आपस में किया बंटवारा,
अमृत को देवो ने पिया,
विष पिने वाले है,
मेरे भोले बाबा,
जग से निराले है मेरे भोले बाबा.....
देवो में सबसे न्यारे,
सारे जग के हो तुम रखवारे,
कर जोड़ भक्त पुकारे,
आ जाओ ओ देव हमारे,
बम बम बम भोले है,
जग से निराले है मेरे भोले बाबा....
जटा में जिसके बहे गंगा,
भोले पीते है भंगा,
बड़े मतवाले है मेरे भोले बाबा,
जग से निराले है मेरे भोले बाबा...