तूने पकड़ा जो हाथ मेरा,
ग़म के बादल जो छंटने लगे,
हमने तुझको पुकारा जो श्याम,
मेरे दर पे तो श्याम आ गए.....
श्याम ऐसी कृपा कर दो,
जिसकी कोई भी सीमा ना हो,
पीछे मुद के जो देखूं तुझे,
मेरे श्याम का दीदार हो,
मेरे श्याम का दीदार हो,
तेरे दर्शन की आस में हम,
सारे जग को ही ठुकरा गए,
हमने तुझको पुकारा जो श्याम,
मेरे दर पे तो श्याम आ गए.....
श्याम तुझसे ही मेरा जीवन,
गिरीश भजता तेरा ये भजन,
रखना उनको भी खुश मेरे श्याम,
जिसने मानी है हमसे जलन,
जिसने मानी है हमसे जलन,
हर ख़ुशी की तलाश में हम,
चलके तेरे ये दर आ गए,
हमने तुझको पुकारा जो श्याम,
मेरे दर पे तो श्याम आ गए......