दुनिया बनाने वाले दुनिया चलाने वाले, छुप के बैठे कहाँ,
काशी मे खोजा और कैलाशा ढूँढा तुझे, देखा ये सारा जहाँ,
नैन ये तरसे मेरे दर्श करा दो इन्हे, सामने आओ ज़रा,
तुम्ही हो बंधु मेरे, तुम्ही हो सखा मेरे तुमसे सारा जहाँ…..
भोले मेरी सांस चलती है दिन ये ढलता है नाम से तेरे,
किस्मत वो ही बनती है जो तू लिखता है हाथ सब तेरे,
भोले मेरी सांस चलती है दिन ये ढलता है नाम से तेरे,
किस्मत वो ही बनती है जो तू लिखता है हाथ सब तेरे……….
कष्ट कटें है मेरे मन के तन के,
भक्ति मैं शम्भू करने लगा हूँ जब से ,
आस मे बैठा है ये दीवाना कब से,
होश सभाला तुझे जाना है जब से,
तू ही तो रजता है, तू ही तो बसता है,
आँखों को चारो दिशा तू ही तू दिखता है,
तेरी रची दुनिया मे भोले सबसे पहले तू बाद सब तेरे,
किस्मत वो बनती है जो तू लिखता है हाथ सब तेरे,
भोले मेरी सांस चलती है दिन ये ढलता है नाम से तेरे,
किस्मत वो ही बनती है जो तू लिखता है हाथ सब तेरे…….
भोले मेरे मन की इक्षा एक भी तू ना रहने दे अधूरी,
मन मे आस है तेरे दर्श की अब वो भी कर पूरी,
भोले मेरे मन की इक्षा एक भी तू ना रहने दे अधूरी,
मन मे आस है तेरे दर्श की अब वो भी कर पूरी,
जिस भी रूप मे तुम आओगे पहचान ही लूंगा,
अपने आसुओं से फिर तुम्हारे चरण धोऊंगा…..
सृष्टि ना थी तब शिव ही शिव थे,
सृष्टि रची तो कण-कण मे शिव है,
पशुपति हर जीव मे शिव है,
है और जो नहीं शिव ही शिव है,
मोह विरक्त और क्षण मे रसिया है,
तुझसे ही हल सभी तुझसे ही खुशियाँ है,
भोले किस बात से मैं भय करूँ जब साथ तू मेरे,
किस्मत वो ही बनती है जो तू लिखता है हाथ सब तेरे,
भोले मेरी सांस चलती है दिन ये ढलता है नाम से तेरे,
किस्मत वो ही बनती है जो तू लिखता है हाथ सब तेरे…..