बैठ्या खाटू में लगाके दरबार

बैठ्या खाटू में लगाके दरबार भुलावे बाबा श्याम धनी,
अपने भगतो की सुनता पुकार भुलावे बाबा श्याम धनी,

श्याम कुंड को निर्मल पानी जाके गोते लगवा,
अपने इस काया के जाके सगला कस्ट मितवा,
माहरे मंडरा शुद्ध हॉवे विचार भुलावे बाबा श्याम धनि,
बैठ्या खाटू में लगाके दरबार ......

सेठा का सेठ संवारा झोली भर भर बांटे,
सचे मन से जो भी आवे नही किसे ने नाते,
दोनों हाथो लुतावे भंडार भुलावे बाबा श्याम धनि,
बैठ्या खाटू में लगाके दरबार ......

भीम सैन तेरा भजन लिखे और कीर्ति वर्मा गावे,
जिसपे किरपा हो बाबा की बेठा मौज उडावे,
मेरा संवारा बड़ा ही दिल दार,भुलावे बाबा श्याम धनि,
बैठ्या खाटू में लगाके दरबार ......

download bhajan lyrics (1017 downloads)