अपने दिल का दरवाजा हम खोल के सोते है,
सपने में आ जाना कान्हा ये बोल के सोते है,
अपने दिल का दरवाजा....
सपने में आये तू कही आंख न खुल जाये,
बाते करते करते दिन रात निकल जाए,
इस दुनिया से नाता हम तोड़ के सोते है,
सपना टूटे मेरा सपने में खो जाऊ,
सपने की चाहत में मैं फिर से सो जाऊ,
जीवन की सारी ईशा हम छोड़ के सोते है,
अपने दिल का दरवाजा....
ये प्रेम हमारा श्याम बस इतना बढ़ जाये,
सपने में आने की तुझे आद्दत पड़ जाए,
बनवार इन हाथो को हम जोड़ के सोते है,
अपने दिल का दरवाजा........