अमृत वाणी हर हर तेरी

अमृत वाणी हर हर तेरी,
सुन सुन होवे परम गत मेरी,
जलन बुझी शीतल हुवे मनवा
सतगुरु का दर्शन पाए जिओ,
अमृत वाणी.....

सुख भया दुख दूर पराना,
संत रशन हर नाम वखाना,
जल-थल-नीर भरे सर शुब्र,
विरथा कोई ना जाये जिओ,
अमृत वाणी.....

दया धारी तीन सृजन हारे,
जी-जंत सगळे प्रत पारे,
मेहरवान कृपाल दयाला,
सगळे तृप्त अघाये जिओ,
अमृत वाणी.......

बन तृन भवना, कितो हरया,
कर्णहार खिन भीतर करया,
गुरुमुख नानक तिसै अराधे,
मन की आश पुराये जीओ,
अमृत वाणी.......

सौरभ सोनी
सरिया
8210062078

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