यह मेहँदी हाथा में बोर लो माथा में,
ओढे माँ चुनरी लाल लाल,
झड़े हीरो को हार रे,
यह मेहँदी हाथा में बोर लो माथा में,
माँ मेहँदी मनावन खातिर इक दिन तो घर में आओ,
ये हाथ कदे तू मियां मेरे अंगनिये रख वाओ,
बहुत दियां हाथा से हाथ की महंगी उधार है,
यह मेहँदी हाथा में बोर लो माथा में,
ये बहु बेटी माँ थारी इतनी सी सेवा मांगे,
माँ मैं तो बेटो थारो अपने हाथो से ताके,
चरण दिया लेकिन माँ माथे की सेवा उधर है,
यह मेहँदी हाथा में बोर लो माथा में,
माँ हार थारो बनवाता पड़ पर गया थोड़ो घाटों,
क्या पावा है क्या हीरा थारी पसन्द सा शंतो,
आने है घर पर माँ जानो माँ गुण सो बाजार है,
यह मेहँदी हाथा में बोर लो माथा में,
अरे कौन सी चुनी जच सी मैं झचा झचा कर देखा,
बनवारी घर आवो तो मैं उड़ा उड़ा कर देखा,
भलती हो भरी हो थे जचे माहने स्वीकार है,
यह मेहँदी हाथा में बोर लो माथा में,