मेरे सँवारे का जलवा शरेआम चल रहा,
मुझे भीख मिल रही है मेरा काम चल रहा है,
मैंने जब भी यहाँ पुकारा तूने दे दिया सहारा,
अब धुप में भी कान्हा मुझे छाव मिल रहा है,
मेरे सँवारे का जलवा शरेआम चल रहा,
मुझे कौन जानता था तेरी बंदगी से पहले,
बस आप के भरोसे मेरा नाम चल रहा है,
मेरे सँवारे का जलवा शरेआम चल रहा,
मेरे पास जो भी कुछ है खैरात श्याम तेरी,
टुकड़ो पे तेरे कान्हा ये जहान पल रहा है,
मेरे सँवारे का जलवा शरेआम चल रहा,