आजा श्यामा तेरा दरश निहार लु
जनम जनम दी अखिया प्यासी
दर्शन देजा हो बृजवासी
आजा श्यामा वे तेरी आरती उतार लु
आजा........
तुम बिन श्याम रेहा नही जावे
पल पल तेरी याद सतावे
आजा श्यामा वे तेरे चरन पखार लु
आजा.........
तु मेरा मैं तेरी सवरीया
तेरे चरना विच बीती उमरिया
आजा श्यामा वे आज तैनु मैं सवार दु
आजा.........