कोई जब राह न पाये, तेरे दर आये,
के श्याम उसे गले से लगाये,
खाटूवाला मेरा श्याम लीले वाला मेरा श्याम,
दर से निराश ना जाए कोई दिल से श्याम बुलाये जो कोई,
मिलता है बाबा दर आये जो कोई शरदा के फूल चड़ाए जो कोई,
गिरतो को श्याम उठाये गले से लगाये के खाटू वाला श्याम कहाये,
खाटूवाला मेरा श्याम लीले वाला मेरा श्याम,
खाटू में जो जाएगा जरूर रंग देता श्याम यही है दस्तूर,
रेहता न जग में वो फिर मजबूर चढ़ जाता है फिर बाबा का सरुर,
चाहे गम जितना सताए जो दर तेरे आये के श्याम उसे गले से लगाये,
खाटूवाला मेरा श्याम लीले वाला मेरा श्याम,
शेखर सरगम की है ये पुकार थामो मेरा हाथ श्याम सरकार ,
सारे जग में है तेरी महिमा अपार हारे का सहारा मेरा ल्ख्दातर,
जो प्रेम से ज्योत जलाये जो दर तेरे आये के श्याम उसे गले से लगाये,
खाटूवाला मेरा श्याम लीले वाला मेरा श्याम,