विघ्नहरण मंगल करन गौरी सुत गणराज
मैं लियो आसरो आपको तो प्रभु रख्यो माहरी लाज
म्हारे घर में पधारो प्यारा गनपतजी
म्हारे आंगणे पधारो प्यारा गजानंदजी
गनपतजी ओ प्यारा गजानंदजी
म्हारे घर में पधारो प्यारा गनपतजी
म्हारे आंगणे पधारो प्यारा गजानंदजी
शिव शंकर को राज दुलारो पार्वती को प्यारो
सबसे पहला सुमुरुन थाणे हरदो विघ्न हमारो
विघ्न विनाशक म्हारा गनपतजी
विघ्न विनाशक म्हारा गजानंदजी
म्हारे घर में पधारो प्यारा गनपतजी
म्हारे आंगणे पधारो प्यारा गजानंदजी
लम्बोदर गजवदन विनायक चार भुजा का धारी
माथे केसर तिलक विराजे मूसे की सवारी
दर्शन दीजियो माहने गनपतजी
ऋद्धि सिद्धि संग लाज्यो गजानंदजी
म्हारे घर में पधारो प्यारा गनपतजी
म्हारे आंगणे पधारो प्यारा गजानंदजी
गणपति बप्पा मौर्या स्यूं जयजयकार करावे
घर घर थारी पूजा होव घर घर थाने मनावे
सिद्धिविनायक माहरा गनपतजी
अष्टविनायक माहरा गजानंदजी
म्हारे घर में पधारो प्यारा गनपतजी
म्हारे आंगणे पधारो प्यारा गजानंदजी
गनपतजी ओ प्यारा गजानंदजी
म्हारे घर में पधारो प्यारा गनपतजी
म्हारे आंगणे पधारो प्यारा गजानंदजी