ठुमक ठुमक चले राम लला प्रभु
बाजे छमा छम माल भवन विच
कर धन की झंकार
हो रामा रामा गूंजे जय जय कार
लखन भरत शत्रुघ्न लला प्रभु
लोरी सुनत खूब सोने खटोला विच बरसे मेघ की धार,
हो रामा रामा गूंजे जय जय कार
ऋषि मुनि ग्यानी सब सुन के मगन हुए
करने लगे जैकार अवध विच प्रभु जी लिए है अवतार
हो रामा रामा गूंजे जय जय कार
धन्ये कोश्यला माता धन्ये सुमित्रा
धन्ये ककई धन्ये राजा दशरथ घर छाया अन्दन अपार
हो रामा रामा गूंजे जय जय कार