श्री जी ने बुलाया है हम को तो जाना है,
हम पगल दीवानों का बरसाना ठिकाना है
मेरी श्यामा बुलाये जिसे वो लोग निराले है,
हम क्यों न इतराए हम बरसाने वाले है,
बरसाने की गलियों में मुझे जीवन बिताना है
श्री जी ने बुलाया है हम को तो जाना है,
दुनिया में न जन्नत में जो नजारा अटारी का
तीनो लोको में फैली ध्वजा उचे बरसाने वाली का
बरसाने की रज में मुझे बन राज मिल जाना है
श्री जी ने बुलाया है हम को तो जाना है,
कोई चिंता सताए न डर श्यामा के चहेतों को
लाडो करती है जिसकी फिकर ना लगती है उसको नजर
गोपाली को चोक्थ पे जीना मर जाना है
श्री जी ने बुलाया है हम को तो जाना है,