मेरी बिटिया चली है ससुराल,
श्याम तू संभाल इसको,
जैसे पाला है यूँ आगे भी तू पाल,
श्याम तू संभाल इसको....
बांहो का ये झूला मैंने जिसको झुलाया है,
आज ये ही समझा हूँ धन वो पराया है,
रखा पलकों में सालों साल,
श्याम तू संभाल इसको,
मेरी बिटिया चली है ससुराल,
श्याम तू संभाल इसको....
जसि लाड़ली की करी हर ज़िद पूरी है,
आज चली जायेगी ये कैसी मजबूरी है,
हाल मेरा तो हुआ है बेहाल,
श्याम तू संभाल इसको,
मेरी बिटिया चली है ससुराल,
श्याम तू संभाल इसको....
अपनी कृपा में इसको भी रख लेना तू,
मेरी पूजा पाठ का भी फल इसे देना तू,
होने देना नहीं बांका एक बाल,
श्याम तू संभाल इसको,
मेरी बिटिया चली है ससुराल,
श्याम तू संभाल इसको.....