वैष्णो देवी नैना देवी जय हो तेरी महाकाली,
डंका बजता है तेरी जग में शान निराली,
भक्तो का यु उधार करन ने वैष्णो रूप बनाया,
दुष्टो का संगार करन ने काली रूप धराया,
मनसा चंडी हरिद्वार में कलकत्ते में काली,
डंका बजता है तेरी जग में शान निराली,
सुसटयोग जवाला माता जय हो तेरी माँ नैना,
छिन्मस्तिका कहलते देवी चामुंडा तेरी भेहना,
एक शक्ति से रूप अनेका जग में रचना डाली,
डंका भजता है तेरी जग में शान निराली,
दुर्गा माँ में शीतला महिमा जल में बाला सुंदरी,
पान सुपारी भोग पेड़े का भेट है नारियल चुनरी,
भर भर झंडा लहराता तीली में झंडेवाली,
डंका बजता है तेरी जग में शान निराली,
हरयाणा के जिला हिसार में भण भोरी मैं भरमारि,
कह हरी ॐ परचा वाला गया मैं तेरे राम्री,
महिमा तेरी गाना चहु हाथ में कलम उठा ली,
डंका बजता है तेरी जग में शान निराली,