दीवाने आये श्यामा के,
निशान हाथ में लेकर दर पे आये श्यामा के,
दीवाने आये श्यामा के
खाटू की पवन नगरी है,
यहाँ भीड़ भी ज्यादा लगती है,
यहाँ दूर दूर से आते है यह सोइ किस्मत जगती है,
भगतो में भगति छाये दीवाने आये श्यामा के,
निशान हाथ में लेकर दर पे आये श्यामा के,
भजते है ढोल नगाड़े जी बाबा को खूब रीजालो जी,
सब भगत झूम के भक्ति में कोई नाचे से कोई गाये जी,
कोई जय जय कार लगाए दर पे आये श्यामा के,
निशान हाथ में लेकर दर पे आये श्यामा के,
मेरा बाबा रंगरंगीला है सवां का मस्त महीना है,
मेरे श्याम ने सब रिजालो जी आज रस भगति का पीना है,
ये समय व्यर्थ न जाये दर पे आये श्यामा के,
निशान हाथ में लेकर दर पे आये श्यामा के,
यहाँ चारो तरफ हरयांली जी मन में रहती खुशहाली जी,.
जो दर आता है खाटू के विपदा उसकी तो टाली जी,
हरी ॐ पराशर गाये दर पे आये श्यामा के,
निशान हाथ में लेकर दर पे आये श्यामा के,