मात सरस्वती तेरा वंदन करते ही रे से अभिनन्दन जय माँ शारदे,
जिसका ध्यान धरे त्रिपुरारी ब्रह्मा विष्णु सहित मुरारी,
जय माँ शारदे जय माँ शारदे,
हंस विराजे वीणा साजे,गल मोतियां की माला
कंठ में वास करे हिरदये निवास करे भेभाव की हो शाला,
मैया श्वेत वसन तन सोये यश कांता मन को मोहे,
जय माँ शारदे जय माँ शारदे,
करू सुमिरन तेरा तुझको नमन मेरा सुन लो पुकार माता,
ज्ञान ज्योति देदो मैया शरण में लेलो मैया करो पुकार माता,
ज्ञानेश्वर पे किरपा करदे सनी की झोली ख़ुशी से भरदे
जय माँ शारदे जय माँ शारदे,