तर्ज - मिलती है ज़िन्दगी में मुहब्बत कभी कभी
तुमने बुलाया फिर मुझे लो आ गया प्रभु
दर्शन दिए है आपने की है दया प्रभु
राहे थी बंद आपने रस्ते बना दिए
सब इंतज़ाम कर दिए बाबा मेरे लिए
करजाई फिर से आपका मैं हो गया प्रभु
चाहोगे जब भी तुम प्रभू आऊंगा मैं ज़रूर
दर्शन को नैन बावरे कैसे रहेंगे दूर
हर बार रूप आपका लगता नया प्रभु
मिलना हमारा आपसे यु ही लगा रहे
दरबार श्याम आपका यु ही सजा रहे
पंकज दीवाना आपका लो हो गया प्रभु
ज्ञान पंकज ( Delhi )
9810257542