तेरे चरणों का फूल श्याम जाऊ न दूर,
सदा लिपटा रहु तुमसे मेरे हज़ूर,
कभी ना पाउ दूर कभी जाऊ न दूर,
सदा लिपटा रहु तुमसे मेरे हज़ूर,
करती दुनिया मुझे श्याम तुझसे है दूर,
दिल गम को यहाँ मिलता सरूर,
तेरे चरणों का फूल श्याम जाऊ न दूर....
तेरा दर है निराला तुन कैसे समबाला,
कोई समजा नहीं तुझे एह मुरली वाला,
देखता ही रहु बस ये तेरा सितम,
अपने दिल से दिल में सजा लो मुझे,
तेरे चरणों का फूल श्याम जाऊ न दूर,
यहाँ बरसे सदा श्याम रेहमत अदा,
लिया दिल को चुरा दिल से दिल की खता,
तेरे नैना रसीले श्याम हम को ये खींचे,
दोष मेरा नहीं श्याम तेरा कसूर,
तेरे चरणों का फूल श्याम जाऊ न दूर,
हुआ मैं तो दीवाना दूर तुमसे न जाना,
अश्क आंसू बहे देख सारा ज़मानाम,
देख तू भी ज़रा प्रेमी भाव भवर इन राहो के सौदे मुझे है मंजूर,
तेरे चरणों का फूल श्याम जाऊ न दूर,
तेरे होठो पे फूल कदर बालो में फूल,
तेरे अंगना में फूल बनके उड़ती है धूल,
तूने मोर छड़ी साजन सिर पे धरी,
रसिक सोहरत मिली सबपे चमके है नूर,
तेरे चरणों का फूल श्याम जाऊ न दूर,