तेरी नज़र हर खबर रखती मेरे श्याम
जिसने किया भरोसा वो पतवार बनती है
तुमसे ही आस है बाबा विश्वास है
शरणागत में खड़ा हूँ तेरे निर्धन की अरदास है
तुमसे ही आस है.............
आगे आगे चलना तू बाबा ओ मेरे
अनजाना हूँ कहना मैं भरोसा तेरे
साथी की तलाश है मनडे की प्यास है
शरणागत में खड़ा हूँ तेरे निर्धन की अरदास है
तुमसे ही आस है.............
पापी मन ये डोले दुनिया की रफ़्तार में
एक बराबर सारे बाबा तेरे दरबार में
नैनो में आस है चरणों में दास है
शरणागत में खड़ा हूँ तेरे निर्धन की अरदास है
तुमसे ही आस है.............
तू सब कुछ जाने बाबा छुपे ना हाल हमारे
बिखरे दिल के टुकड़े चलता हूँ तेरे सहारे
ह्रदय में वास है मेरा तू ख़ास है
शरणागत में खड़ा हूँ तेरे निर्धन की अरदास है
तुमसे ही आस है.............
आया हूँ मिलने तुमसे गंगा के उस पार से
मुझको भी मिल जाए प्रसाद तेरे हाथ से
फिर क्यों उदास हैं श्याम साजन तेरे पास है
शरणागत में खड़ा हूँ तेरे निर्धन की अरदास है
तुमसे ही आस है........