दीप जगे हर घर में हर घर में मने दीवाली
हाथ जोड़ अरदास गुरु जी बक्श देयो खुशहाली
दीप जगे हर घर में हर घर में मने दीवाली
सबना दे वेहड़े भरदेना घर आँगन मेह्काना,
मेहर दया दी मेरे सतगुरु सब ते ही बरसाना
सुखा वाली होई सवेर कट जाए राते काली
दीप जगे हर घर में हर घर में मने दीवाली
दीपाली सा रोशन गुरु जी सब दा जीवन कर दो तू सी,
असी हां भूले भटके सुन लो गुरु जी
प्रेम दिला विच भरदो तुसी
फेर न अख न किसे दी रोवे न छलके आँख से पानी
दीप जगे हर घर में हर घर में मने दीवाली
इतनी सी बस अर्जी सुन लो सब पे किरपा कर दो,
सच का रसता सब नु दिखा के सब के अवगुण भर दो
चारे पासे किरपा बरसे एसी हो दीवाली
दीप जगे हर घर में हर घर में मने दीवाली