कन्हिया बैठाया पहिया हो मिलन यमुना पे आउंगी
मिलन तू कैसे आवे गी खोली पे तेरा बाबुल पावेगा
बाबुल के मैं मुका धर दूंगी मिलन यमुना पे आउंगी
मिलन तू कैसे आवेगी धरा तेरी मैया पावेगी
मैया के मैं पैर दबा दूंगी मिलन यमुना पे आउंगी
मिल्न तू कैसे आवेगी रस्ते में तेरी सखियाँ पावेगी
सखी ने मैं आप मना लुंगी मिलन यमुना पे आउंगी