क्यों सुनते नहीं मेरी क्यों मुझको सताते हो,
तुमको है खबर मेरी फिर भी मुस्कुराते हो,
क्यों सुनते नहीं मेरी क्यों मुझको सताते हो ।
माना सुख में बाबा तुमको ना याद किया,
मुझको क्या इसका कारण दुःख ने बर्बाद किया,
रहमत तुम सांवरिया सब पर बरसाते हो,
क्यों सुनते नहीं मेरी.......
शिकवा हो गर कोई मुझको बतला दो ना,
यूँ मुंह ना फेरो तुम एक झलक दिखा दो ना,
क्या सच है क तुम बाबा रोते को हंसाते हो,
क्यों सुनते नहीं मेरी.......
अब और ना सह पाऊं दुःख दर्द ज़माने का,
एक बार खबर आकर ले लो इस दीवाने का,
शिवम् हारे हर पल तुम क्यों ना जिताते हो,
क्यों सुनते नहीं मेरी......