गुरु जी दी हो गई फुल किरपा,
हर चिंता फ़िक्र मिटाई मेहर बरसाई,
हो गई फुल किरपा..
प्रभु जी दी हो गई फुल किरपा॥
वंडदा मुरादा मुँह मंगियाँ,
सुखा दियां होइया छावा, मैं शुकर मनावा,
के हो गई फुल किरपा..
गुरु जी दी हो गई फुल किरपा॥
दिन रात उडीका लाइया सी,
अज रब ने कर सुनवाई, ते रौनक लाइ,
के हो गई फुल किरपा..
गुरु जी दी हो गई फुल किरपा॥
बलिहारी मैं सद के वारी,
तेरे वरगा होर नही होना,
के हो गई फुल किरपा..
गुरु जी दी हो गई फुल किरपा॥
कमले ते झल्ले हो गए आ,
नही पैर जमीन ते पेंदे, ते नच नच कहंदे,
के हो गई फुल किरपा..
गुरु जी दी हो गई फुल किरपा॥