आजा आजा आजा रे, श्याम शरण में आजा रे।
बन जाये बिगड़े काजा रे, श्याम शरण मे आजा रे।।
प्रेम गली है, श्याम की मेरी,
दयादृष्टि खाटूश्याम की मेरी।
भक्तिभाव से सब कोई आओ,
खाटूश्याम जी सबके राजा, आजा आजा आजा रे।
बाबा तेरा रूप है सुंदर,
सारी सृष्टि है तेरे अंदर।
तेरी सृष्टि का मैं भी कण हूँ,
इस कण का उद्धार किये जा, आजा आजा आजा रे।
खाली झोली लेकर आता,
भरकर ही उसको ले जाता।
सौरभ भी तेरे द्वार पे आया,
हे बाबा खोलो दरवाजा, आजा आजा आजा रे।