बड़ी प्यारी लागे रे धूल वृंदावन की....
उड़ उड़ धूल मेरे माथे पर पड़ी,
मैंने तिलक लगाए भरपूर धूल वृंदावन की,
बड़ी प्यारी लागे रे धूल वृंदावन की....
उड़ उड़ धूल मेरे नैनों पर पड़ी,
मैंने दर्शन किए भरपूर धूल वृंदावन की,
बड़ी प्यारी लागे रे धूल वृंदावन की....
उड़ उड़ धूल मेरे होठों पर पड़ी,
मैंने भजन किए भरपूर धूल वृंदावन की,
बड़ी प्यारी लागे रे धूल वृंदावन की....
उड़-उड़ धूल मेरे हाथों पर पड़ी,
मैंने दान किए भरपूर धूल वृंदावन की,
बड़ी प्यारी लागे रे धूल वृंदावन की....
उड़-उड़ धूल मेरे पैरों पर पड़ी,
परिक्रमा लगाई भरपूर धूल वृंदावन की,
बड़ी प्यारी लागे रे धूल वृंदावन की....